भारत के इंग्लैण्ड दौरे से पहले सबसे ज्यादा चर्चा का विषय यो-यो टेस्ट बना हुआ. जिसका प्रमुख कारण है टीम में चयन के बाद खिलाड़ियों का इस टेस्ट में फेल होना. ऐसे में अब बीसीसीआई के जनरल मैनेजर सबा करीम ने चयन से पहले टेस्ट ना किए जाने पर एक खुलासा किया है.
सबा करीम ने बताया, अफगानिस्तान टेस्ट और इंग्लैंड वनडे टीम में चयन के बाद भारतीय खिलाड़ियों का यो-यो टेस्ट कराए जाने के पीछे की वजह इंडियन प्रीमियर लीग है. आम तौर पर खिलाड़ियों का यो-यो टेस्ट टीम में चुने जाने से पहले ही किया जाता है लेकिन आईपीएल और टीम के चयन की जरूरत की वजह से ऐसा नहीं किया जा सका.
शमी और रायडू चयन के बाद हुए फेल
अफगानिस्तान के खिलाफ टेस्ट टीम में चुने गए मोहम्मद शमी और फिर इंग्लैड वनडे टीम में शामिल अम्बाती रायडू यो-यो टेस्ट में फेल हो गए थे. वहीं इंडिया ए टीम में चुने गए संजू सैमसन भी टेस्ट पास करने में नाकाम रहे थे. जिसके बाद बीसीसीआई को टीम में शामिल इन तेनो खिलाड़ियों की जगह पर दूसरे खिलाड़ियों के नाम को घोषणा करनी पड़ी. इस तरह तीन-तीन खिलाड़ियों के टेस्ट में फेल होने के बाद बीसीसीआई की काफी आलोचना हुई थी. जिसके बाद से क्रिकेट जगत में यो-यो टेस्ट को लेकर हल्ला मचा हुआ है.
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IPL की वजह से नहीं हुआ ‘यो-यो टेस्ट’
सबा ने बताया, ”यह (यो-यो टेस्ट) हमेशा ही टीम चयन से पहले किया जाता है इस मर्तबा इसमें आईपीएल की वजह से बदलाव किया गया. कुछ कारणों की वजह से हमें टीम का चयन पहले करना ही था. हम आईपीएल के बीच से खिलाड़ियों को उठाकर उनको फिटनेस टेस्ट देने के लिए नहीं भेज सकते थे. इसलिए हमने इसे आईपीएल के बाद कराया और हर खिलाड़ी को इसकी तैयारी के लिए प्रयाप्त समय दिया गया था.”
हालांकि इस बार यो-यो टेस्ट के चलते हुए इतने सारवे फेरबदल को देखते हुए. बीसीसीआई ने साफ़ कर दिया है की आगे से ऐसा नहीं होगा. अब वो पहले खिलाड़ियों का यो-यो टेस्ट तभी उसके बाद टीम का ऐलान करेगी.